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श्रीमद्भागवत गीता आधारित प्रतियोगिताओं में उत्कृष्ट छात्रों का सम्मान, ‘कर्मयोग’ पुस्तिका का विमोचन एवं पारदर्शी शासन के लिए पोर्टल लांच

स्टेट ब्यूरो हेड: योगेंद्र सिंह यादव, उत्तर प्रदेश

शाहजहांपुर। जिले में प्रतिभाशाली छात्र-छात्राओं को प्रोत्साहित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल के अंतर्गत शुक्रवार को विकास भवन सभागार में एक भव्य सम्मान समारोह का आयोजन किया गया। इस अवसर पर जिलाधिकारी धर्मेन्द्र प्रताप सिंह एवं मुख्य विकास अधिकारी डॉ. अपराजिता सिंह ने श्रीमद्भागवत गीता पर आधारित विभिन्न प्रतियोगिताओं में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले विद्यार्थियों को सम्मानित किया।

इस प्रतियोगिता में कुल 248 छात्र-छात्राओं ने भाग लिया, जिनमें से प्रथम स्थान पर 6, द्वितीय स्थान पर 8, तृतीय स्थान पर 8 और 226 प्रतिभागियों को सांत्वना पुरस्कार प्रदान किए गए।
प्रथम स्थान प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों को ₹11,000, द्वितीय स्थान पर ₹5,100 तथा तृतीय स्थान पर ₹2,100 की धनराशि व प्रमाण पत्र प्रदान किए गए। प्रतियोगिता के तहत कुल ₹3,49,600 की धनराशि चयनित प्रतिभागियों के बैंक खातों में स्थानांतरित की गई।

योग प्रदर्शन में विशेष सम्मान
कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय खुटार की 16 छात्राओं को योग क्षेत्र में प्रथम स्थान मिलने पर घड़ी एवं स्कूल बैग प्रदान किए गए। इसी प्रकार, भावलखेड़ा विद्यालय की 16 छात्राओं को द्वितीय स्थान पर घड़ी व स्टेशनरी बॉक्स तथा मिर्जापुर विद्यालय की 16 छात्राओं को तृतीय स्थान पर घड़ी देकर प्रोत्साहित किया गया।

‘कर्मयोग’ पुस्तिका का विमोचन
कार्यक्रम के दौरान बच्चों के लिए विशेष रूप से तैयार की गई ‘कर्मयोग’ हस्तपुस्तिका का विमोचन जिलाधिकारी धर्मेन्द्र प्रताप सिंह द्वारा किया गया। इस पुस्तिका में श्रीमद्भागवत गीता के श्लोकों को अर्थ सहित सरल भाषा में प्रस्तुत किया गया है, जिससे विद्यार्थी गीता के गूढ़ सिद्धांतों को सरलता से समझ सकें। इसका संपादन डॉ. अरुण कुमार गुप्ता, एस.आर.जी. शाहजहांपुर द्वारा किया गया, जिसकी सराहना जिलाधिकारी ने की। उन्होंने निर्देश दिए कि विद्यालयों में इस पुस्तिका के श्लोक विद्यार्थियों को कंठस्थ कराए जाएं।

‘चौपाल’ पोर्टल का शुभारंभ
कार्यक्रम के दौरान ग्रामीण क्षेत्रों से प्राप्त होने वाली शिकायतों के पारदर्शी एवं समयबद्ध निस्तारण हेतु जिलाधिकारी ने chaupal.shahjahanpur.up.in पोर्टल का भी शुभारंभ किया। यह पोर्टल ग्रामीण जनता और प्रशासन के बीच प्रभावी संवाद एवं जवाबदेही सुनिश्चित करेगा।

जिलाधिकारी एवं सीडीओ का प्रेरक संदेश
जिलाधिकारी धर्मेन्द्र प्रताप सिंह ने कहा कि “श्रीमद्भागवत गीता भारतीय जीवन-दर्शन का मूल है और इस प्रकार की प्रतियोगिताएं युवाओं में नैतिक मूल्यों, आध्यात्मिक चेतना एवं सकारात्मक दृष्टिकोण को विकसित करती हैं।”
मुख्य विकास अधिकारी डॉ. अपराजिता सिंह ने कहा कि “शिक्षा के साथ संस्कारों का समावेश ही विद्यार्थियों को आदर्श नागरिक बनाता है, और इस प्रकार के आयोजन इसी दिशा में एक मजबूत प्रयास हैं।”

इस कार्यक्रम में शिक्षा विभाग के अधिकारी, विभिन्न विद्यालयों के प्रधानाचार्य, शिक्षकगण, अभिभावक और अन्य गणमान्य जन उपस्थित रहे। आयोजन ने जिले में प्रतिभा, संस्कृति और आध्यात्मिकता को एक मंच पर लाकर नई दिशा देने का कार्य किया।

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