रिपोर्ट:कल्लू उर्फ रजनीश
लखनऊ। पैरावेट/पशु मित्र/मैत्री कर्मचारियों ने सरकार से अपना वादा निभाने की मांग करते हुए निश्चित मासिक मानदेय दिए जाने की अपील की है। इस संबंध में पैरावेटनरी वर्कर संघ, उत्तर प्रदेश के पदाधिकारियों ने बताया कि 3 अप्रैल 2016 को आयोजित "अधिकार दिलाओ रैली" में पूर्व केंद्रीय मंत्री मा. कौशल किशोर के माध्यम से पैरावेट कर्मचारियों को स्थायी मानदेय दिए जाने का वादा किया गया था।
संघ के प्रदेश अध्यक्ष अनिल सिंह राठौर ने कहा कि उत्तर प्रदेश में भाजपा सरकार बनने के बाद विभिन्न संविदा कर्मियों को सम्मान और आर्थिक सहयोग मिला, लेकिन पैरावेट कर्मचारियों को अब तक निश्चित मानदेय की सुविधा नहीं दी गई। उन्होंने बताया कि पैरावेट कर्मचारी पशु गर्भाधान, बंध्याकरण, प्राथमिक उपचार, गर्भ परीक्षण और टीकाकरण जैसी महत्वपूर्ण सेवाएं देते हैं, लेकिन सरकार द्वारा इन सेवाओं को निःशुल्क किए जाने के कारण उनकी जीविका प्रभावित हुई है। साथ ही, उन्हें अस्थायी गौ आश्रय स्थलों का भी कार्यभार सौंप दिया गया है, जिससे उनकी समस्याएं और बढ़ गई हैं।
संघ के महामंत्री राजेश यादव ने बताया कि पैरावेट कर्मचारियों की मुख्य मांगें इस प्रकार हैं—
- पैरावेट कर्मचारियों को सम्मानजनक निश्चित मासिक मानदेय दिया जाए।
- उनके कार्य की जोखिमपूर्ण प्रकृति को देखते हुए बीमा योजना लागू की जाए।
- पैरावेट के लिए सेवा नियमावली बनाई जाए।
- पशुपालन विभाग में रिक्त पदों पर पैरावेट कर्मचारियों को समायोजित किया जाए।
इस मुद्दे पर पैरावेटनरी वर्कर संघ के संरक्षक रामकिशोर यादव, हरिशंकर वर्मा, उपाध्यक्ष रणवीर सिंह, संदीप चौधरी, मुलायम सिंह यादव सहित अन्य पदाधिकारियों ने भी सरकार से जल्द से जल्द मांगें पूरी करने की अपील की है। संघ ने चेतावनी दी है कि अगर जल्द ही कोई ठोस निर्णय नहीं लिया गया तो प्रदेश भर में आंदोलन किया जाएगा।
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